पटना : पूर्व केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के ऊपर लगातार हमलावर बने हुए हैं। वह पिछले कुछ दिनों से अलग-अलग मुद्दों को लेकर नीतीश सरकार को घेरने में लगे हैं। इसी कड़ी में उन्होंने मंगलवार को खनन विभाग के अधिकारियों पर हुए हमले को लेकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर हमला बोला है। आरसीपी ने कहा है कि नीतीश कुमार पहले भी सीएम थे और आज भी मुख्यमंत्री हैं, लेकिन उनकी सरकार का इकबाल खत्म हो चुका है।आरसीपी सिंह ने कहा है कि, “नीतीश बाबू ,आप और आपके उपमुख्यमंत्री कल पड़ोसी राज्य की कानून व्यवस्था पर लंबी-लंबी बातें कह रहे थे- क्या क्या नहीं कह रहे थे, याद है न? परंतु कल ही पटना से कुछ किलोमीटर की दूरी पर बालू माफियाओं और उनके दरिंदों ने किस प्रकार से आपकी सरकार के खनिज विभाग के पदाधिकारियों पर जानलेवा हमला किया,पता है न नीतीश बाबू! उन्होंने आगे कहा कि अगर आपको पता नहीं चला है तो आप पता कर लीजिए। उस समाचार को पढ़कर आपके रोंगटे खड़े हो जाएंगे। वो बहादुर महिला खनिज पदाधिकारी अपने कर्तव्य के पालन हेतु घटना स्थल पर गई थी। बालू माफिया और उसके गुंडे, उस महिला पदाधिकारी पर जान मारने की नीयत से आक्रमण कर रहे थे तथा वो असहाय होकर गिर गई। वो तो भगवान ने उस पदाधिकारी की जान बचाई। नीतीश बाबू, वह आक्रमण खनिज विभाग के पदाधिकारियों पर नहीं, वह हमला तो सीधे आपकी सरकार पर था। बालू , राज्य की खनिज सम्पदा है। उसके खनन पर एकमात्र अधिकार राज्य का होता है। राज्य सरकार की अनुमति से ही वैध रूप से बालू का खनन होता है। पर यह क्या? बालू माफिया खुल्लम खुल्ला कानून की धज्जियां उड़ा रहे हैं। ट्रक पर ओवरलोडिंग कर सरकार के राजस्व को चूना लगा रहे हैं। अवैध कमाई कर रहे हैं और सड़कों को भी बर्बाद कर रहे हैं। बालू माफियाओं का हौसला तो देखिए नीतीश बाबू,उसे कानून का भय नहीं है। कानून का डर उसके दिमाग़ से निकल चुका है।“ आरसीपी नेकहा है कि, “नीतीश जी, जनता त्रस्त है तथा माफिया एवं अपराधी मस्त है! उन्हें पता है कि जिस तरह की राजनीति आप कर रहे हैं, उसमें उनके खिलाफ करवाई करना आपके बस का नहीं है। और ऊपर से आपने मानवाधिकार का लंबा लवादा ओढ़ रखा है। बिहार की जनता और सरकारी सेवकों के जान माल की रक्षा कौन करेगा नीतीश बाबू? अभी हाल में एक कानून के साथ आपने जो पलटी मारी की है,उससे सरकारी सेवकों में गलत संदेश गया है। आपने उन्हें जो सुरक्षा का कवच दिया था, उसे आपने खुद ही हटा लिया! सही है नीतीश बाबू, आपको जनता और सरकारी सेवकों के जान माल की सुरक्षा से क्या लेना देना? आपकी कुर्सी सलामत रहे, यही आपका धर्म हो गया है। बालू माफिया ज़िंदाबाद! दारू माफिया जिंदाबाद! कुर्सीवाद जिंदाबाद!